न्यूजक्लिक वेबसाइट ​​​​​​​के फाउंडर पुरकायस्थ और HR हेड गिरफ्तार: गैरकानूनी गतिविधि और चीनी फंडिंग के केस में छापा पड़ा, 30 लोकेशंस पर कार्रवाई

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नई दिल्लीएक घंटा पहले

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न्यूजक्लिक वेबसाइट के फाउंडर प्रबीर पुरकायस्थ को गाड़ी में बिठाकर ले जाती दिल्ली पुलिस।

दिल्ली पुलिस ने 3 अक्टूबर की रात न्यूजक्लिक वेबसाइट के फाउंडर प्रबीर पुरकायस्थ और एचआर प्रमुख अमित चक्रवर्ती को गिरफ्तार कर लिया। इन पर फॉरेन से फंडिंग लेने का आरोप है। पुलिस ने सुबह 30 से ज्यादा लोकेशंस पर छापे मारे गए थे।

पुलिस ने बताया कि मामले में 46 संदिग्धों से पूछताछ की गई, इनमें 37 पुरुष और 9 महिलाओं शामिल हैं। पुरुषों से दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के दफ्तर और महिलाओं से उनके आवास पर पूछताछ की गई। जिन लोगों से पूछताछ की गई उनमें पत्रकार उर्मिलेश, औनिंद्यो चक्रवर्ती, अभिसार शर्मा, परंजय गुहा के साथ-साथ इतिहासकार सोहेल हाशमी भी शामिल हैं। करीब 6 घंटे की पूछताछ के बाद इन्हें छोड़ दिया गया।

पुलिस ने इनसे उनकी विदेश यात्रा, दिल्ली के शाहीन बाग में नागरिकता (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शन, किसान आंदोलन सहित विभिन्न मुद्दों से जुड़े 25 सवाल पूछे। पत्रकारों का आरोप है कि उनका लैपटाप, मोबाइल जब्त कर लिया है।

न्यूजक्लिक की अलग-अलग लोकेशन से जब्त किए गए डॉक्यूमेंट्स दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल लाए गए।

न्यूजक्लिक की अलग-अलग लोकेशन से जब्त किए गए डॉक्यूमेंट्स दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल लाए गए।

कांग्रेस, आप और सपा के साथ-साथ प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने छापेमारी की आलोचना की है। विपक्षी गठबंधन ने कहा कि सरकार सच दबाने की कोशिश कर रही है। वहीं, केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने भुवनेश्वर में एक सभा में कहा कि देश में जांच एजेंसियां स्वतंत्र हैं और कानून के मुताबिक काम करती हैं।

एडिटर्स गिल्ड ने कहा मीडिया पर लगाम लगाने का एक और प्रयास
एडिटर्स गिल्ड ने कहा कि यह कार्रवाई मीडिया पर लगाम लगाने का एक और प्रयास है। कठोर कानूनों का इस्तेमाल डराने-धमकाने या अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और आलोचनात्मक आवाजों को दबाने के लिए नहीं होना चाहिए। प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने कहा कि वह पत्रकारों पर छापेमारी से चिंतित है। हम पत्रकारों के साथ एकजुटता से खड़े हैं।

परंजॉय गुहा ठाकुरता और उर्मिलेश को पुलिस उनके घर से पूछताछ के लिए ले गई।

परंजॉय गुहा ठाकुरता और उर्मिलेश को पुलिस उनके घर से पूछताछ के लिए ले गई।

न्यूजक्लिक के फाउंडर और एडिटर-इन-चीफ प्रबीर पुरकायस्थ को दिल्ली पुलिस के स्पेशल सेल ऑफिस लाया गया।

न्यूजक्लिक के फाउंडर और एडिटर-इन-चीफ प्रबीर पुरकायस्थ को दिल्ली पुलिस के स्पेशल सेल ऑफिस लाया गया।

इससे पहले न्यूजक्लिक से जुड़े पत्रकार अभिसार शर्मा, उर्मिलेश और परंजॉय गुहा ठाकुरता को पुलिस ले गई थी। मुंबई में एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ के घर भी मुंबई पुलिस की एक टीम पहुंची थी।

दिल्ली पुलिस ने यह कार्रवाई गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (UAPA) के तहत की है। 5 अगस्त को न्यूयॉर्क टाइम्स ने एक रिपोर्ट जारी कर बताया था कि न्यूजक्लिक को एक अमेरिकी अरबपति नोवेल रॉय सिंघम ने फाइनेंस किया था। वे चीनी प्रोपेगैंडा को बढ़ावा देने के लिए भारत समेत दुनियाभर में संस्थाओं को फंडिंग करते हैं।

इस रिपोर्ट के आधार पर 17 अगस्त को न्यूजक्लिक के खिलाफ केस दर्ज किया गया था। इनके खिलाफ IPC की धारा 153 (ए) (धर्म, जाति के आधार पर विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देना) के साथ-साथ यूएपीए की कई धाराएं (13, 16, 17, 18 और 22) भी लगाई गई हैं।

धारा 16- आतंकी मामलों से जुड़ी, धारा 17- आतंकी गतिविधियों के लिए फंडिंग जुटाना, धारा 18- षड्यंत्र की सजा, धारा 22 सी- कंपनियों द्वारा किए गए अपराध की सजा है।

तीस्ता के घर मुंबई पुलिस पहुंची, कार्रवाई की डिटेल नहीं
सोशल एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ के मुंबई स्थित घर पर भी पुलिस पहुंची। तीस्ता न्यूजक्लिक वेबसाइट के लिए आर्टिकल लिखती रही हैं। हालांकि, पुलिस ने अब तक इस केस से तीस्ता के कनेक्शन के बारे में कुछ नहीं कहा है। तीस्ता को गुजरात दंगों से जुड़े एक केस में सुप्रीम कोर्ट ने 19 जुलाई को जमानत दी थी। उन्हें पिछले साल 25 जून को गिरफ्तार किया गया था।

मुंबई में एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ के घर पहुंची मुंबई पुलिस।

मुंबई में एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ के घर पहुंची मुंबई पुलिस।

अभिसार शर्मा ने कहा- पुलिस मेरा फोन और लैपटॉप ले गई

जिन पत्रकारों के यहां छापा मारा गया, उनमें प्रमुख रूप से प्रबीर पुरकायस्थ, संजय राजौरा, उर्मिलेश, भाषा सिंह, परंजॉय गुहा ठाकुरता, ऑनिंदो चक्रवर्ती, अभिसार शर्मा और सोहेल हाशमी हैं। कहा जा रहा है कि ये सभी न्यूज वेबसाइट न्यूजक्लिक से जुड़े हुए हैं। अभिसार शर्मा नोएडा और उर्मिलेश गाजियाबाद में रहते हैं।

इनमें से कई पत्रकारों ने ट्वीट कर बताया है कि पुलिस ने उनके घरों में रेड डाली है और उनके मोबाइल फोन और लैपटॉप जब्त कर लिए हैं।

इस छापे को लेकर प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने विरोध जाहिर किया है…

हाईकोर्ट ने पुरकायस्थ की गिरफ्तारी पर रोक लगाई थी
इससे पहले, 22 अगस्त को दिल्ली हाईकोर्ट ने न्यूजक्लिक के एडिटर इन चीफ प्रबीर पुरकायस्थ को नोटिस दिया था। यह नोटिस दिल्ली पुलिस की इकोनॉमिक ऑफेंसेस विंग (EOW) की याचिका पर दिया गया था। पुलिस ने याचिका में कोर्ट के अंतरिम आदेश को वापस लेने की अपील की थी, जिसमें न्यूज साइट के खिलाफ सख्त एक्शन लेने पर रोक लगाई गई थी।

दरअसल, दिल्ली हाईकोर्ट ने 7 जुलाई 2021 को प्रबीर पुरकायस्थ को गिरफ्तार न करने का आदेश दिया था। हालांकि कोर्ट ने कहा था कि पुरकायस्थ को अधिकारियों के निर्देशों के मुताबिक जांच में सहयोग करना होगा। दिल्ली पुलिस की याचिका के बाद कोर्ट ने पुरकायस्थ से इस मामले में जवाब तलब किया था।

चीन के प्रोपेगैंडा के लिए दुनिया भर में धन देते हैं अरबपति सिंघम

अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स ने 5 अगस्त को ये रिपोर्ट जारी की थी। इसमें कहा गया था कि अमेरिकी अरबपति नोवेल रॉय सिंघम ने चीनी प्रोपेगैंडा को बढ़ावा देने के लिए दुनिया की कई संस्थाओं को पैसा दिया है। इनमें भारत की न्यूजक्लिक वेबसाइट भी शामिल है।

अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स ने 5 अगस्त को ये रिपोर्ट जारी की थी। इसमें कहा गया था कि अमेरिकी अरबपति नोवेल रॉय सिंघम ने चीनी प्रोपेगैंडा को बढ़ावा देने के लिए दुनिया की कई संस्थाओं को पैसा दिया है। इनमें भारत की न्यूजक्लिक वेबसाइट भी शामिल है।

5 अगस्त 2023 को न्यूयॉर्क टाइम्स में एक रिपोर्ट छपी। रिपोर्ट में बताया गया कि ब्रिटेन और अमेरिका में कुछ ग्रुप चीन के प्रोपेगैंडा को प्रमोट करने में जुटे हैं। इन संगठनों की जांच की गई तो सामने आया कि इसकी फंडिंग एक अमेरिकन मिलियनेयर नेविल रॉय सिंघम कर रहे हैं।

टाइम्स के मुताबिक नेविल रॉय सीधे तौर पर चीन सरकार के निर्देशों पर काम नहीं करते। हालांकि वो उन संस्थाओं के साथ जुड़े हैं, जो दुनिया में चीन की उपलब्धियों का बखान करती हैं।

न्यूयॉर्क टाइम्स की इन्वेस्टिगेशन में सामने आया कि सिंघम के साथ मैसाचुसेट्स में एक थिंक टैंक, मैनहटन की संस्था, दक्षिण अफ्रीका में एक राजनीतिक दल, भारत और ब्राजील में न्यूज ऑर्गेनाइजेशन सहित कई ग्रुप जुड़े हैं। इनके पास अरबों डॉलर के साधन हैं।

सिंघम शिकागो में स़ॉफ्टवेयर कंसल्टेंसी कंपनी थॉटवर्क्स चलाते हैं। इससे एक भारतीय न्यूज वेबसाइट भी जुड़ी है। 69 साल के सिंघम शंघाई में बैठते हैं। वहां उनका नेटवर्क यूट्यब पर एक शो चलाता है। इसके लिए शंघाई का प्रोपेगैंडा विभाग भी कुछ पैसा देता है।

सिंघम से जुड़ा कोई भी ग्रुप विदेशी एजेंट रजिस्ट्रेशन एक्ट के तहत रजिस्टर्ड नहीं है। दूसरे देशों की ओर से जनमत को प्रभावित करने के अभियान चलाने वाले ग्रुपों का रजिस्ट्रेशन जरूरी है।

न्यूयॉर्क टाइम्स की पूरी रिपोर्ट यहां क्लिक कर पढ़ें

संसद में उठा था न्यूजक्लिक का मुद्दा
मानसून सत्र के दौरान 7 अगस्त को लोकसभा में भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने न्यूयॉर्क टाइम्स रिपोर्ट का हवाला देकर न्यूजक्लिक को मिलने वाली चीनी फंडिंग का मुद्दा उठाया था।

केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने भी एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में आरोप लगाया कि ‘कांग्रेस, चीन और विवादित न्यूज वेबसाइट न्यूजक्लिक एक ही गर्भनाल से जुड़े हैं। राहुल गांधी की ‘नकली मोहब्बत की दुकान’ में पड़ोसी सामान साफ देखा जा सकता है। चीन के प्रति उनका प्रेम नजर आ रहा है। वे भारत विरोधी अभियान चला रहे हैं।’

अनुराग ठाकुर ने कहा कि जब मैं न्यूज क्लिक की बात करता हूं, इसकी फंडिंग की, तब भारत में इसके खिलाफ छापे पड़े। उसमें कहां-कहां से पैसा लिया, कहां से पैसे आए, इन सबकी जानकारी है। अगर आप इनकी फंडिंग का जाल देखेंगे तो नोवेल रॉय सिंघम ने इसकी फंडिंग की। फंडिंग उसे चीन की ओर से आई।

दो साल पहले इनकम टैक्स ने डाली थी न्यूजक्लिक के ऑफिस में रेड

आयकर की टीम ने पहुंचते ही ऑफिस में मौजूद कर्मचारियों के मोबाइल बंद करा दिए थे।

आयकर की टीम ने पहुंचते ही ऑफिस में मौजूद कर्मचारियों के मोबाइल बंद करा दिए थे।

सितंबर 2021 में इनकम टैक्स विभाग ने ऑनलाइन पोर्टल न्यूज लॉन्ड्री और न्यूजक्लिक के ऑफिस में रेड डाली भी। टैक्स चोरी की जांच के लिए यह कार्रवाई की गई थी। इनकम टैक्स विभाग ने इस बात की पुष्टि की थी कि उसकी टीम साउथ दिल्ली में इन दोनों वेबसाइट के ऑफिस पहुंची थीं। हालांकि आयकर विभाग की तरफ से इस कार्रवाई को रेड की जगह सर्वे कहा गया। पूरी खबर यहां पढ़ें…

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