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- राजनीतिक दल आपराधिक उम्मीदवार रिकॉर्ड; बीजेपी कांग्रेस एसपी बहुजन समाज पार्टी को सुप्रीम कोर्ट
नई दिल्ली14 मिनट पहले
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राजनीति में अपराधियों की हिस्सेदारी कम करने की दिशा में सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को एक बड़ा फैसला दिया। कोर्ट ने कहा कि सभी राजनीतिक दलों को अपने उम्मीदवारों का चयन करने के 48 घंटे के अंदर उनका क्रिमिनल रिकॉर्ड पब्लिश करना होगा।
सुप्रीम कोर्ट के नए आदेश के मुताबिक, सभी पार्टियों को अपने सभी उम्मीदवारेां की जानकारी अपनी वेबसाइट पर डालनी होगी और दो अखबारों में भी पब्लिश करनी होगी। उम्मीदवार के चयन के 72 घंटे के अंदर इस आदेश के अनुपालन की रिपोर्ट चुनाव आयोग को सौंपना अनिवार्य होगा।
फरवरी के आदेश में किया बदलाव
नए आदेश के साथ ही कोर्ट ने फरवरी 2020 में दिए अपने निर्णय में बदलाव किया है। फरवरी 2020 में सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले के पैराग्राफ 4.4 में आदेश दिया था कि उम्मीदवार के चयन के 48 घंटे के अंदर या नामांकन भरने की पहली तारीख के दो हफ्ते के अंदर (इन दोनों में से जो भी पहले हो) उम्मीदवारों की पूरी जानकारी देनी होगी।
48 घंटे में ही देनी होगी जानकारी
जस्टिस आरएफ नरीमन और बीआर गावई की बेंच ने मंगलवार को कहा कि उन्होंने अपने आदेश के पैराग्राफ 4.4 में बदलाव किया है। नए आदेश के मुताबिक राजनीतिक दलों को 48 घंटे के अंदर ही उम्मीदवारों की पूरी जानकारी देनी होगी।
पिछले महीने कोर्ट ने कहा था कि इसकी संभावना कम है कि अपराधियों को राजनीति में आने और चुनाव में खड़े होने से रोकने के लिए विधानमंडल कुछ करेगा। अपना निर्णय सुनाते वक्त कोर्ट ने राजनीति में तेजी से बढ़ते अपराधियों पर चिंता जताई।
नवंबर में दाखिल की गई थी याचिका
नवंबर 2020 में बिहार विधानसभा चुनावों के दौरान उन पार्टियों के खिलाफ मानहानि की याचिका दाखिल की गई थी, जिन्होंने अपने उम्मीदवारों के आपराधिक रिकॉर्ड का ब्यौरा नहीं दिया था। कोर्ट इस मामले में अपना फैसला सुना रहा था।
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