18 अक्टूबर को देशभर में रेल रोको आंदोलन: लखीमपुर खीरी हिंसा के विरोध में किसानों ने किया ऐलान; दो मांगें- केंद्रीय राज्य मंत्री को बर्खास्त करो, आरोपी बेटे को गिरफ्तार

रोहतकएक घंटा पहले

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किसानों द्वारा रेल पटरी पर इस तरह लेटकर कृषि कानूनों का विरोध किया गया था। (फाइल फोटो)

संयुक्त किसान मोर्चा ने 18 अक्टूबर को देशभर में रेल रोको आंदोलन करने का ऐलान किया है। उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में हुई हिंसा के बाद सरकार के रवैये से खफा होकर न्याय के लिए इस आंदोलन का आह्वान किया गया है। 18 अक्टूबर को देशभर में ट्रैक बाधित करके रेलें रोककर विरोध जताया जाएगा, ताकि केंद्रीय राज्य मंत्री अजय‌ मिश्र को बर्खास्त करने और उनके बेटे समेत अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए सरकार पर दबाव बनाया जा सके।

12 को किसान शहीदी दिवस मनाएं

संयुक्त किसान मोर्चा ने किसानों के अलावा आम लोगों से भी अपील की गई है कि लखीमपुर खीरी में शहीद हुए पांच किसानों को श्रद्धांजलि देने के लिए 12 अक्टूबर को अपने घरों के आगे 5 मोमबत्तियां जलाकर किसान शहीदी दिवस मनाएं।

सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे तक रोकेंगे ट्रेनें

मैंकुंडली बॉर्डर पर संयुक्त किसान मोर्चा समन्वय समिति की बैठक के बाद वरिष्ठ सदस्य डॉ. दर्शनपाल ने बैठक में लिए गए निर्णय की बारे में बताया। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार लखीमपुर खीरी के दोषियों को बचाने के लिए पूरा जोर लगा रही है। सरकार का यह रवैया गलत है और इससे किसानों में रोष है। अब किसान और अधिक इंतजार नहीं कर सकते।

बैठक में फैसला लिया गया कि घटना के लिए जिम्मेदार केंद्रीय राज्य मंत्री अजय मिश्र को बर्खास्त करने व उनके बेटे समेत अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए सरकार पर दबाव बनाया जाएगा। इसके लिए 18 अक्टूबर को देशभर में अखिल भारतीय रेल रोको आंदोलन चलाया जाएगा। रेल रोको आंदोलन सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे तक चलेगा। हम देश की जनता को परेशान नहीं करना चाहते, लेकिन गूंगी-बहरी सरकार तक अपनी आवाज पहुंचाने के लिए समिति को ऐसा करना पड़ रहा है।

गुरुद्वारों, मंदिरों, चर्च, मस्जिद व अन्य सार्वजनिक स्थानों पर प्रार्थना सभा

डॉ. दर्शनपाल ने कहा कि 12 अक्तूबर को शहीद किसान दिवस मनाया जाएगा। इसलिए संयुक्त किसान मोर्चा देशवासियों से लखीमपुर खीरी किसान हत्याकांड में शहीद हुए 5 किसानों की अंतिम अरदास में शामिल होने की अपील करता है। उन्होंने लोगों से मृत किसानों की आत्मा की शांति के लिए 12 अक्तूबर को गुरुद्वारों, मंदिरों, चर्च, मस्जिद और अन्य सार्वजनिक स्थानों पर प्रार्थना सभा और श्रद्धांजलि सभा आयोजित करने की अपील की। साथ ही घर के मुख्य द्वार पर 5 मोमबत्तियां जलाकर श्रद्धांजलि देने की भी अपील की।

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