रेलवे बोर्ड का फरमान ! यूनिफाइड पेंशन स्कीम UPS का अर्थतंत्र समझाने उतरे डीआरएम-डीएफएम-डीपीओ

  • रेलवे के सभी डिवीजन में अफसरों को दी गयी जिम्मेदारी, बता रहे लाभकारी, प्रेस वार्ता का आयोजन 

NEW DELHI. केंद्र सरकार ने 24 अगस्त को सरकारी कर्मचारियों को यूनीफाइड पेंशन स्कीम (Unified Pension Scheme) के तहत पेंशन देने का ऐलान किया. एआईआरएफ के महासचिव और जेसीएम सचिव (कर्मचारी पक्ष) शिव गोपाल मिश्रा ने पहली बार इस स्कीम को लेकर सकारात्मक प्रतिक्रिया दी और कहा कि 23 लाख केंद्रीय कर्मचारियों को यूपीएस का लाभ (UPS Benefits for Employees) मिलेगा. इसमें आठ लाख रेल कर्मचारी भी शामिल हैं. शिव गोपाल मिश्रा ने कहा कि इसके पहले दी जा रही पेंशन सरकारी कर्मचारियों के हित में नहीं थी. इसमें लोगों को पेंशन के नाम पर 800,1200 और 1500 रुपए द‍िए जा रहे थे. लेकिन अब कर्मचारियों को सुनिश्चित पेंशन दिया जाएगा. उनको महंगाई राहत भी दिया जाएगा. ओपीएस में लाए गए प्रावधान कर्मचारियों को राहत देने वाले हैं.

सरकार की घोषणा के बाद रेलवे के सभी डिवीजनों में डीआरएम से लेकर सीनियर डीएफएम और सीनियर डीपीओ स्तर के अधिकारी बकायदा यूनीफाइड पेंशन स्कीम (Unified Pension Scheme) के फायदे गिनाने में जुट गये हैं. ऐसा प्रतीत हो रहा रहा है कि रेलवे बोर्ड स्तर पर इन अधिकारियों को यह बात रेलकर्मियों तक पहुंचाने की जिम्मेदारी दी गयी हो. सभी डिवीजन में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर UPS के फायदे बताये जा रहे हैं.

पूर्वोत्तर रेलवे के इज्जतनगर मंडल पर डीआरएम रेखा यादव ने प्रेसवार्ता कर एकीकृत पेंशन योजना की जानकारी दी है. बताया कि एनपीएस की जगह ओल्ड पेंशन की मांग की जा रही थी. ओल्ड पेंशन के बदले एकीकृत पेंशन कर्मचारियों को 1 अप्रैल 2025 से प्रदान कर दी जायेगी. रेलवे हमेशा कर्मचारियों के हित में रहा है. उन्होंने बताया कि कर्मचारी एनपीएस से यूपीएस में जाना चाहेगा वो अपना विकल्प दे सकते हैं. इसमें किसी भी प्रकार की बाध्यता नहीं होगी. जिसके फलस्वरुप केन्द्रीय कर्मचारियों में बहुत ही उत्साह देखने को मिल रहा है.

वहीं प्रयागराज में डीआरएम हिमांशु बडोनी ने स्कीम के लाभ को समझाया. डीआरएम हिमांशु बडोनी ने बताया कि भारत सरकार यूनिफाइड पेंशन स्कीम लेकर आई है. यूनिफाइड पेंशन स्कीम आई है जो कि 01.04.2025 से लागू होगी. इस पूरी पेंशन स्कीम के कई महत्वपूर्ण भाग हैं. इसमें पेंशन को अनिवार्य कर दिया गया है. स्कीम में कर्मचारी के अंतिम 12 माह के बेसिक वेतन का 50 प्रतिशत प्लस डीए जो बनेगा, वह पेंशन के रूप में उसको निर्धारित करके दिया जाएगा. बशर्ते कर्मचारी ने 25 साल की सेवा पूरी की हो. जिन कर्मचारियों ने 10 से 25 साल की सेवा पूरी की है, उनकी समानुपातिक रूप से पेंशन का निर्धारण करके दिया जायेगा.

उधर, चक्रधरपुर रेल मंडल के डीआरएम कार्यालय सभागार में सीपीएम राजीव कुमार गुप्ता, सीनियर डीपीओ डॉ. ऋषभ सिंह, सीनियर डीएफएम हेमंत मधुर, डीसीएम डॉ. देवराज बनर्जी ने यूनिफाइड पेंशन स्कीम की जानकारी दी. बताया कि यूनिफाइड पेंशन स्कीम से रेल कर्मचारियों को लाभ पहुंचेगा. एनपीएस के तहत जो वर्तमान में कर्मचारी हैं उन्हें पेंशन के लिए के लिए 10 प्रतिशत योगदान वेतन से व 14 प्रतिशत सरकार की ओर से दिया जाता है. लेकिन नई यूपीएस के तहत सरकार की ओर से योगदान को बढ़ाकर 18.5 प्रतिशत कर दिया गया है. इससे कर्मचारियों व सेवानिवृत्त कर्मचारियों को इसका लाभ मिलेगा. वर्ष 2004 के बाद जो भी सेवानिवृत्त कर्मचारी एनपीएस का लाभ ले रहे हैं वे यूपीएस में स्वीच कर सकते हैं.

पूर्वोत्तर रेलवे वाराणसी मंडल के डीआरएम विनीत कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि यूपीएस की मंजूरी पर वर्ष 2004 के बाद सरकारी सेवा में आये अधिकारियों और कर्मचारियों में खुशी का माहौल है. सेवानिवृत्ति के बाद सुनिश्चित पेंशन की व्यवस्था से कर्मचारियों में उत्साह है. नई पेंशन व्यवस्था से सरकार ने जहां अधिकारियों व कर्मचारियों का भविष्य सुरक्षित किया है. वहीं, सेवानिवृत्ति के बाद सम्मान के साथ समाज में जीने का हक भी प्रदान किया है. यही स्थिति अन्य मंडलों में की भी है जहां मंडल के आला अधिकारी स्कीम को लेकर रेलकर्मियों की गलतफहमी दूर करने और उसे लाभकारी बताने का प्रयास कर रहे हैं.