भारत में लिवर और कैंसर की नकली दवा बिक रही: DCGI ने राज्यों से नजर रखने को कहा, डॉक्टर्स को दवा लिखते समय सावधान रहने के निर्देश

नई दिल्ली15 मिनट पहले

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DCGI ने 5 सितंबर को बताया कि भारत सहित चार देशों में एडसेट्रिस इंजेक्शन के 50 मिलीग्राम के कई नकली वर्जन मौजूद हैं। (कॉन्सेप्ट इमेज)

भारत में लिवर की दवा डिफिटेलियो और कैंसर के इलाज में इस्तेमाल होने वाले इंजेक्शन एडसेट्रिस के नकली वर्जन मौजूद हैं। ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) ने इसकी जानकारी दी है। साथ ही सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के ड्रग कंट्रोलर को इन दवाओं पर नजर रखने के निर्देश दिए हैं।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने इन दवाओं को लेकर अलर्ट जारी किया था। इसके बाद DCGI ने 5 सितंबर को बताया कि भारत सहित चार देशों में एडसेट्रिस इंजेक्शन के 50 मिलीग्राम के कई नकली वर्जन मौजूद हैं, जिसे टेकेडा फार्मास्युटिकल कंपनी लिमिटेड बनाती है। ये दवाएं अक्सर मरीज को निजी स्तर पर उपलब्ध कराई जाती हैं, जिनकी सप्लाई मुख्य रूप से ऑनलाइन होती है।

DCGI ने स्टेट ड्रग कंट्रोलर को एक लेटर भेजा है। जिसमें इस दवा के कम से कम आठ अलग-अलग नकली वर्जन मौजूद होने की बात कही गई है।

भारत और तुर्किये में मिला डिफिटेलियो का नकली वर्जन
6 सितंबर को DCGI ने एक और एडवाइजरी जारी की, जिसमें डिफिटेलियो (डिफाइब्रोटाइड) 80 मिलीग्राम कॉन्संट्रेट के लिए 4 सितंबर को WHO की ओर से जारी सुरक्षा चेतावनी का जिक्र किया गया था। WHO ने कहा था कि दवाओं के नकली वर्जन की पहचान भारत में अप्रैल 2023 में हुई थी। तुर्किये में जुलाई 2023 में इसके मौजूद होने की जानकारी मिली।

उधर, संयुक्त राष्ट्र (UN) की हेल्थ बॉडी ने कहा कि डिफिटेलियो दवा के नकली वर्जन के इस्तेमाल से मरीज पर इलाज का असर नहीं होता, साथ ही कई गंभीर खतरे भी हो सकते हैं। कई स्थितियों में तो यह दवा लेने से मरीज की मौत भी हो सकती है।

इस बारे में जानकारी सामने आने के बाद DCGI ने डॉक्टरों से मरीज को दवा लिखते वक्त सावधान रहने की सलाह दी है। साथ ही मरीज को इस बारे में जागरूक करने का सुझाव दिया, जिससे मरीज दवा का रिएक्शन होने पर तुरंत अस्पताल आए।

DCGI ने स्टेट और रीजनल अथॉरिटी ऑफिसर्स को भी इस बारे में निर्देश जारी करने को कहा है। जिससे बाजारों में इन दवाएं की सेल, डिस्ट्रीब्यूशन और स्टॉक पर नजर रखी जा सके। इसके साथ ही मार्केट में मौजूद दवाओं के नमूने लेकर जरूरी कार्रवाई शुरू करने की बात भी कही गई है।

इससे पहले DCGI ने 31 अगस्त को एबॉट के एंटासिड डाइजीन जेल (Abbott’s antacid Digene gel) के खिलाफ एडवाइजरी अलर्ट जारी किया था। DCGI ने डॉक्टर्स से कहा है कि वे अपने मरीजों को दवा लिखते वक्त सावधान रहें। साथ ही मरीजों को एबॉट के एंटासिड डाइजीन जेल का इस्तेमाल बंद करने के लिए कहें। जो मरीज यह दवा ले रहे हैं उन्हें अगर कोई रिएक्शन हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

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