कोयंबटूर में 9 बच्चियों का यौन शोषण: एक्स्ट्रा-क्लास के नाम पर 2 महीने से टीचर शोषण कर रहा था; प्रिंसिपल समेत 4 टीचर भी अरेस्ट

चेन्नई7 घंटे पहलेलेखक: आशीष राय

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छात्राओं की शिकायत के मुताबिक उन्होंने जिन टीचर्स को शोषण के बारे में बताया, उनमें से कुछ ने चुप रहने और मामले को किसी को न बताने की भी हिदायत दी।

तमिलनाडु के कोयंबटूर के एक स्कूल में 9 छात्राओं के साथ यौन शोषण का खुलासा हुआ है। 9वीं क्लास की एक छात्रा ने जिला बाल संरक्षण विभाग की टीम को बताया कि नटराजन नाम का एक टीचर एक्स्ट्रा क्लास के नाम पर कई महीनों से उसका यौन शोषण कर रहा था।

इसके बाद टीम ने स्कूल की अन्य छात्राओं से पूछताछ की। इसमें सामने आया कि नटराजन ने एक- दो नहीं बल्कि 7वीं, 8वीं और 9वीं क्लास में पढ़ने वाली 9 छात्राओं का कई मौकों पर यौन उत्पीड़न किया है। नटराजन स्कूल में इंटरमीडिएट का टीचर था। छात्राओं ने यह भी बताया कि उन्होंने हेडमास्टर और क्लास टीचर को इसकी जानकारी दी थी, लेकिन उन्होंने भी कोई एक्शन नहीं लिया।

कोयंबटूर के इसी स्कूल में 9 छात्राओं के साथ यौन शोषण का खुलासा हुआ है।

कोयंबटूर के इसी स्कूल में 9 छात्राओं के साथ यौन शोषण का खुलासा हुआ है।

पूरा मामला विस्तार से जानिए…
मामला कोयंबटूर के मेट्टुपालयम के अलंगकोम्बु गांव का है। 12 अगस्त को जिला बाल संरक्षण विभाग (DCPU) की एक टीम यहां के सरकारी सहायता प्राप्त स्कूल में जांच के लिए आई। इस टीम को स्कूल के बच्चों को यौन हिंसा, बाल विवाह और बाल सहायता केंद्र के बारे में जागरूक करने का जिम्मा सौंपा गया था।

टीम को लीड कर रहे जिला बाल संरक्षण अधिकारी हब्शा बच्चों से अकेले में बात कर रहे थे। इसी दौरान 9वीं क्लास में पढ़ने वाली एक स्टूडेंट ने अपने यौन शोषण की बात बताई। टीम ने अगले 6 घंटे तक स्कूल की कई अन्य छात्राओं से बात की। इसमें 9 अन्य छात्राओं के शोषण का खुलासा हुआ।

छात्राओं ने हब्शा को बताया कि उन्होंने लगभग सभी टीचर्स को अलग-अलग मौकों पर इसकी जानकारी दी, लेकिन किसी ने भी कोई एक्शन नहीं लिया। कुछ ने तो चुप रहने और मामले को किसी को न बताने की भी हिदायत दी।

आरोपी टीचर्स की गिरफ्तारी के बाद स्कूल को अगले आदेश तक बंद कर दिया गया है। आज (24 अगस्त) राज्य सरकार की और से गठित एक जांच टीम जांच के लिए स्कूल आने वाली है।

आरोपी शिक्षक नटराजन की तस्वीर। इस पर 9 छात्राओं के शोषण का मामला दर्ज हुआ है।

आरोपी शिक्षक नटराजन की तस्वीर। इस पर 9 छात्राओं के शोषण का मामला दर्ज हुआ है।

पुलिस ने नटराजन समेत 11 लोगों को गिरफ्तार किया
जिला बाल संरक्षण अधिकारी हब्शा ने छात्राओं का यौन उत्पीड़न करने वाले टीवर नटराजन समेत 11 लोगों के खिलाफ सिरुमुगई पुलिस स्टेशन में POCSO के तहत मामला दर्ज कराया। पुलिस ने मामले की गंभीरता देखते हुए जांच शुरू की और 22 अगस्त को आरोपी नटराजन को अरेस्ट किया।

नटराजन को कोयंबटूर की एक अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे 26 अगस्त तक पुलिस कस्टडी में भेज दिया गया है। नटराजन की गिरफ्तारी के बाद जिला अधिकारी के निर्देश पर स्कूल की प्रिंसिपल जमुना और टीचर शनमुगावादिवु, गीता, श्यामला समेत 5 टीचर्स को भी अरेस्ट किया गया है।

इन सभी पर मामले की जानकारी होने के बावजूद इसे नहीं रोकने, आरोपी के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने और पुलिस को इसकी सूचना नहीं देने का आरोप है। हालांकि, प्रिंसिपल जमुना ने पुलिस को बयान दिया है कि उन्होंने 6 अगस्त को इस मामले की सूचना जिला शिक्षा पदाधिकारी को दी थी।

डिस्ट्रिक्ट एजुकेशन ऑफिसर बालमुरली ने बताया कि नटराजन को छात्राओं के यौन उत्पीड़न की शिकायत के चलते एक हफ्ते पहले ही सस्पेंड कर दिया गया था और अब उसकी गिरफ्तारी की गई है। उन्होंने यह भी कहा कि चार अन्य शिक्षकों को भी मामला दबाने का दोषी पाया गया है। उन्हें भी सस्पेंड कर दिया गया है। जांच के बाद इन सभी को बर्खास्त करने की कार्रवाई होगी।

पिछले स्कूल में भी POCSO केस में जेल गया था नटराजन
डिस्ट्रिक्ट एजुकेशन ऑफिसर बालमुरली ने बताया कि POCSO मामले में गिरफ्तार नटराजन पहले अन्नूर के पास कट्टमपट्टी स्कूल में नौकरी करता था। वहां भी इसी तरह की शिकायत पर उसके खिलाफ POCSO एक्ट में मामला दर्ज किया गया था। वह कुछ महीने के लिए जेल भी गया था। हालांकि, हम इस बात की जांच कर रहे हैं कि जेल से बाहर आने के बाद उसने कैसे आसानी से दूसरे स्कूल में ड्यूटी जॉइन कर ली।

वहीं, मामले की जांच से जुड़े एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि आरोपी पिछले 2 महीने से छात्राओं के साथ आपत्तिजनक हरकत कर रहा था। वह स्कूल खत्म हो जाने के बाद एक्स्ट्रा क्लास के नाम पर छात्राओं को रोकता था और उनके साथ अश्लील हरकत करता था।

पुलिस अधिकारी ने बताया कि उसके खिलाफ पहले से दर्ज मामले की जांच भी अभी जारी है, ऐसे में माना जा रहा है कि वह आदतन अपराधी है। पीड़ित छात्राओं में से कुछ ने अपने माता-पिता को भी इसकी जानकारी दी थी, लेकिन कोई हमारे पास शिकायत लेकर नहीं आया। आरोपी से पूछताछ जारी है और हम उन स्कूलों में भी जाकर जांच कर रहे हैं जहां आरोपी ने इसके पहले काम किया है।

फेक NCC कैंप में 13 लड़कियों का यौन शोषण हुआ
इससे पहले 19 अगस्त को कृष्णगिरि जिले के एक प्राइवेट स्कूल में फर्जी NCC कैंप में 13 लड़कियों के साथ यौन शोषण का खुलासा हुआ था। जिस स्कूल में कैंप लगा था, वहां NCC यूनिट ही नहीं थी। एक ग्रुप ने स्कूल मैनेजमेंट से संपर्क किया और उन्हें भरोसा दिलाया कि कैंप लगाने के बाद स्कूल में NCC यूनिट स्थापित हो सकती है। इस पर स्कूल सहमत हो गया।

तीन दिन का यह कैंप अगस्त के पहले सप्ताह में आयोजित किया गया था और इसमें 41 स्टूडेंट शामिल हुए थे। इनमें से 17 लड़कियां थीं। पुलिस ने कहा कि लड़कियों जिस हॉल में रुकी थीं, उन्हें वहां से बहला-फुसला कर ले जाया गया और उनका यौन शोषण किया गया। जांच के बाद पुलिस ने स्कूल के प्रिंसिपल और दो शिक्षकों सहित 11 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है।

इस घटना के बाद मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने नाबालिग लड़कियों के कथित यौन शोषण से संबंधित घटनाओं की जांच के लिए एक स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) गठित करने का आदेश दिया है। IPS अधिकारी के. भवनेश्वरी इस SIT का नेतृत्व करेंगी।

मुख्यमंत्री ने मामले की जांच में तेजी लाने और 60 दिन के भीतर चार्जशीट दायर करने का काम इस टीम को सौंपा है। ऐसी घटनाओं को दोबारा होने से रोकने के उपाय सुझाने के लिए स्टालिन ने मल्टी डिसिप्लीनरी टीम (MDT) गठित करने का भी निर्देश दिया है। सोशल वेलफेयर डिपार्टमेंट की सचिव जयश्री मुरलीधरन इस टीम का नेतृत्व करेंगी और इसमें पुलिस और स्कूल शिक्षा विभाग के प्रतिनिधि भी शामिल होंगे।

कृष्णगिरि जिले के एक प्राइवेट स्कूल में आयोजित किए गए तीन दिन के कैंप में 41 स्टूडेंट शामिल हुए थे। इनमें से 17 लड़कियां थीं। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

कृष्णगिरि जिले के एक प्राइवेट स्कूल में आयोजित किए गए तीन दिन के कैंप में 41 स्टूडेंट शामिल हुए थे। इनमें से 17 लड़कियां थीं। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

फर्जी NCC टीचर ने जहर खाकर जान दी
फर्जी NCC कैंप मामले में गिरफ्तार फर्जी NCC शिक्षक शिवरामन की शुक्रवार (23 अगस्त) को मौत हो गई है। कृष्णागिरी के DSP थंगाराज ने बताया कि आरोपी ने अपनी गिरफ्तारी से पहले ही जहर खा लिया था। उसे इलाज के लिए सालेम के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया।

थंगाराज के मुताबिक, गिरफ्तारी से बचने के लिए आरोपी ने भागने की भी कोशिश की थी। उस दौरान उसका पैर टूट गया था। वहीं आरोपी के पिता की भी एक सड़क हादसे में गुरुवार को मौत हो गई थी। तमिलनाडु बीजेपी नेता अन्नामलाई ने इस पूरे मामले में सवाल उठाते हुए कहा कि पिता-पुत्र की मौत से शक पैदा होता है कि क्या इस मामले में किसी को बचाने की कोशिश हुई है।

कावेरीपट्टनम में भी 11 लोग हुए थे गिरफ्तार
इससे पहले कावेरीपट्टनम के एक फर्जी NCC कोच शिवरामन और एक निजी स्कूल के प्रिंसिपल सतीश कुमार के खिलाफ एक शिकायत के आधार पर POCSO एक्ट में मामला दर्ज किया गया था। उन पर आरोप था कि उन्होंने एक छात्र का यौन उत्पीड़न किया था।

इस मामले में सेलम के DIG उमा, कृष्णागिरी के जिला सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस थंगादुरई ने व्यक्तिगत रूप से जांच की। इसके बाद शिवरामन, स्कूल प्रिंसिपल वेस्ले, प्रिंसिपल सतीश, टीचर जेनिफर और फर्जी NCC कोच शक्तिवेल समेत 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया।

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महाराष्ट्र के ठाणे जिले के बदलापुर में केजी की 3 और 4 साल की 2 बच्चियों से एक निजी स्कूल में यौन शोषण की घटना सामने आने के बाद हजारों की भीड़ यहां के लोकल ट्रेन के रेलवे ट्रैक पर उतर आई।

भीड़ ने मंगलवार, 20 अगस्त को पहले स्कूल में तोड़फोड़ की फिर सुबह 8 बजे से शाम 6 बजे तक बदलापुर स्टेशन पर प्रदर्शन किया। 10 घंटे से ज्यादा लोकल ट्रेनों की आवाजाही रुकी रही। शाम को पुलिस ने लाठीचार्ज कर रेलवे ट्रैक खाली कराया। पूरी खबर यहां पढ़ें…

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